दमोह जिला, मध्य प्रदेश, Damoh District Of Madhya Pradesh


 दमोह जिला, मध्य प्रदेश


स्थिति और सीमाएँ:
दमोह जिला मध्य प्रदेश के मध्य भाग में स्थित है। इसके उत्तर में सागर जिला, पूर्व में कटनी जिला, दक्षिण में जबलपुर जिला और पश्चिम में सागर और नरसिंहपुर जिले स्थित हैं। यह जिला अपने ऐतिहासिक और धार्मिक स्थलों के लिए प्रसिद्ध है।

स्थापना:
दमोह जिले की स्थापना 1956 में हुई थी। यह जिला ऐतिहासिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है और यहाँ पर कई प्राचीन मंदिर और किले स्थित हैं।

मुख्यालय:
जिले का प्रशासनिक मुख्यालय दमोह शहर में स्थित है।

भूगोल:
दमोह जिले का भूभाग मुख्यतः मैदानी है। यहाँ की प्रमुख नदियाँ सुनार, बेबस, और धसान हैं। जिले की जलवायु सामान्यतः शुष्क है, जिसमें गर्मियों में तापमान अधिक और सर्दियों में तापमान मध्यम रहता है। 

अर्थव्यवस्था:
दमोह जिले की अर्थव्यवस्था मुख्य रूप से कृषि और पशुपालन पर आधारित है। यहाँ की प्रमुख फसलें गेहूं, धान, ज्वार, बाजरा, और चना हैं। इसके अलावा, जिले में तिलहन और दलहन की भी खेती की जाती है। पशुपालन और दुग्ध उत्पादन भी यहाँ की अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं।

पर्यटन स्थल:
1. कुंडलपुर: यह जैन धर्मावलंबियों के लिए एक महत्वपूर्ण तीर्थस्थल है और यहाँ पर अनेक जैन मंदिर स्थित हैं। यह स्थान अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए भी प्रसिद्ध है।
2. नोहटा: यह स्थान भगवान शिव को समर्पित है और यहाँ पर एक प्राचीन शिव मंदिर स्थित है, जो पर्यटकों को आकर्षित करता है।
3. जटाशंकर: यह प्राकृतिक गुफा मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और यहाँ का प्राकृतिक सौंदर्य पर्यटकों को आकर्षित करता है।
4. गजेंद्रगढ़ किला: यह ऐतिहासिक किला दमोह जिले में स्थित है और अपनी प्राचीन वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है।
5. सिंगोरगढ़ किला: यह किला दमोह जिले का एक प्रमुख ऐतिहासिक स्थल है, जो सिंगोरगढ़ गांव में स्थित है और अपनी भव्यता के लिए प्रसिद्ध है।

संस्कृति और त्यौहार:
दमोह जिले की संस्कृति में मध्य प्रदेश की विविधता और परंपराओं का मेल दिखाई देता है। यहाँ के प्रमुख त्यौहारों में होली, दिवाली, दशहरा, नवरात्रि और मकर संक्रांति शामिल हैं। जिले में विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम और मेलों का आयोजन भी किया जाता है, जो यहाँ की सांस्कृतिक धरोहर को जीवित रखते हैं। आदिवासी नृत्य और संगीत भी जिले की संस्कृति का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं।

यातायात और परिवहन:
दमोह जिला सड़क और रेल मार्ग से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। दमोह रेलवे स्टेशन महत्वपूर्ण जंक्शन है, जो देश के प्रमुख शहरों से जुड़ा हुआ है। जिले में राष्ट्रीय और राज्य राजमार्ग भी व्यापक रूप से फैले हुए हैं, जो परिवहन सुविधाजनक बनाते हैं।

शिक्षा:
जिले में कई शैक्षणिक संस्थान हैं, जो प्राथमिक से उच्च शिक्षा तक की सुविधाएं प्रदान करते हैं। यहाँ के प्रमुख शिक्षण संस्थानों में महाविद्यालय और विद्यालय शामिल हैं, जो स्थानीय छात्रों को शिक्षा के अवसर प्रदान करते हैं।

स्वास्थ्य सेवाएं:
जिले में कई सरकारी और निजी अस्पताल, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हैं। जिला अस्पताल दमोह शहर में स्थित है, जो स्वास्थ्य सेवाओं का मुख्य केंद्र है। इसके अलावा, ग्रामीण क्षेत्रों में भी प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध हैं।

अन्य महत्वपूर्ण जानकारी:
दमोह जिला अपने धार्मिक स्थलों, ऐतिहासिक धरोहरों और प्राकृतिक सौंदर्य के लिए प्रसिद्ध है। यहाँ की सांस्कृतिक धरोहर, त्यौहार और मेले जिले को एक महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल बनाते हैं। दमोह का ग्रामीण जीवन और परंपरागत रीति-रिवाज इसे एक अद्वितीय पहचान देते हैं।

दमोह जिला अपने धार्मिक, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व के लिए जाना जाता है। यह जिला मध्य प्रदेश का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जहाँ परंपरा और संस्कृति का अद्वितीय संगम देखने को मिलता है। यहाँ के पर्यटन स्थल, सांस्कृतिक उत्सव और ऐतिहासिक धरोहरें इसे एक महत्वपूर्ण और आकर्षक जिला बनाते हैं।
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